G-ZPPKZFFYSH Ajit Pawar statement: अजित पवार का गुस्सा: ‘कहाँ फँस गया मैं इस पुण्ये का पालकमंत्री बनकर!

Ajit Pawar statement: अजित पवार का गुस्सा: ‘कहाँ फँस गया मैं इस पुण्ये का पालकमंत्री बनकर!


Ajit Pawar statement कहाँ फंस गया मैं पुणे का पालकमंत्री बनकर!– अजित पवार का पेड़ों की कटाई पर बयान चर्चा में

Ajit Pawar statement महाराष्ट्र के उपमुख्यमंत्री और पुणे के पालकमंत्री अजित पवार एक बार फिर सुर्खियों में हैं। वजह है मुळा नदी सुशोभीकरण परियोजना, जिसके तहत एक हजार पेड़ों की कटाई की योजना है। पर्यावरण प्रेमियों ने पवार से इसे रोकने की अपील की, लेकिन उनके जवाब ने विवाद खड़ा कर दिया।

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Ajit Pawar statement मुळा नदी सुशोभीकरण और 1000 पेड़ों की बलि

पिंपरी-चिंचवड़ से गुजरने वाली मुळा नदी के किनारे सौंदर्यीकरण के लिए नगर निगम ने बड़े पैमाने पर निर्माण का प्लान बनाया है।
परियोजना में अड़चन मानी जा रही लगभग 1000 पेड़ों की बलि देने का प्रस्ताव है। इसी पर आपत्ति जताते हुए पर्यावरण प्रेमियों ने अजित पवार को याद दिलाया कि वे पालकमंत्री हैं और उन्हें शहर के हरियाली बचाने में पहल करनी चाहिए।


Ajit Pawar statement “कहाँ फंस गया मैं!” – अजित पवार का तंज

एक कार्यक्रम के दौरान जब पर्यावरण कार्यकर्ता मारुति भापकर ने पवार से पेड़ कटाई रोकने की गुजारिश की, तो पवार ने हंसते-हंसते कहा –

“ये सब सुनकर तो मुझे लगता है, कहाँ फंस गया मैं पुणे का पालकमंत्री बनकर!
जो-जो उठता है, मुझे उपदेश देने लगता है।
सब कुछ मानो मैंने ही लेना है।”

उनका यह बयान सोशल मीडिया पर तेजी से वायरल हो गया और लोग इसे लेकर तरह-तरह की प्रतिक्रियाएं दे रहे हैं।


Ajit Pawar statement पवार ने पेड़ों की कटाई पर चुप्पी साधी

Ajit Pawar statement दिलचस्प बात यह है कि पवार ने प्रस्तावित पेड़ों की कटाई को रोकने पर कोई साफ वादा नहीं किया। उन्होंने बात को आगे बढ़ाते हुए राज्य में चल रही वृक्षारोपण योजना का जिक्र कर दिया।


5 साल में 100 करोड़ पौधे लगाने का लक्ष्य

अजित पवार ने कहा –

  • इस साल राज्य में 10 करोड़ पौधे लगाए जाएंगे।
  • इनमें से 1 करोड़ पौधे बीड जिले में लगेंगे।
  • अगले 4 साल में हर साल 25-25 करोड़ पौधे लगाए जाएंगे।
  • सरकारी कार्यक्रमों में अब पुष्पगुच्छ की जगह पौधे गिफ्ट करने की परंपरा अपनाई जाएगी।

उन्होंने दावा किया कि सरकार का मकसद है महाराष्ट्र को हरित राज्य बनाना।


पर्यावरण प्रेमियों की नाराज़गी

Ajit Pawar statement हालांकि, पर्यावरण प्रेमियों का कहना है कि नई पौधारोपण योजना पुरानी हरियाली नष्ट करने का बहाना नहीं बन सकती।
“पुराने और बड़े पेड़ों की जगह छोटे पौधे लगाना, पर्यावरण के लिए घाटे का सौदा है,” ऐसा उनका तर्क है।


निचोड़

Ajit Pawar statement अजित पवार का यह बयान भले ही मजाकिया अंदाज में आया हो, लेकिन यह दिखाता है कि पुणे में पर्यावरण और विकास के बीच खींचतान लगातार बढ़ रही है। आने वाले दिनों में यह मुद्दा राजनीति में और भी गर्मा सकता है।


FAQ’s:

Q1. Ajit Pawar statement मुळा नदी सुशोभीकरण परियोजना क्या है?
यह पुणे और पिंपरी-चिंचवड़ से गुजरने वाली मुळा नदी के किनारे सौंदर्यीकरण और विकास का प्रोजेक्ट है।

Q2. Ajit Pawar statement इसमें कितने पेड़ काटे जाएंगे?
करीब 1000 पेड़ काटने की योजना है।

Q3. पेड़ों की कटाई रोकने की मांग किसने की?
पर्यावरण प्रेमियों और सामाजिक कार्यकर्ताओं ने।

Q4. Ajit Pawar statement अजित पवार ने क्या कहा?
उन्होंने मजाकिया लहजे में कहा – “कहाँ फंस गया मैं पुणे का पालकमंत्री बनकर!”

Q5.Ajit Pawar statement क्या पवार ने कटाई रोकने का वादा किया?
नहीं, उन्होंने इस पर कोई स्पष्ट जवाब नहीं दिया।

Q6. राज्य में वृक्षारोपण का लक्ष्य क्या है?
5 साल में 100 करोड़ पौधे लगाने का लक्ष्य।

Q7. Ajit Pawar statement इस साल कितने पौधे लगाए जाएंगे?
इस साल 10 करोड़ पौधे, जिनमें 1 करोड़ बीड जिले में।

Q8. क्या नए पौधे पुराने पेड़ों की भरपाई कर सकते हैं?
विशेषज्ञ मानते हैं कि बड़े पेड़ों की जगह छोटे पौधे पर्यावरण के लिए पर्याप्त नहीं।

Q9. Ajit Pawar statement सरकारी कार्यक्रमों में पुष्पगुच्छ क्यों बंद किए जा रहे हैं?
उनकी जगह पौधे गिफ्ट करने की परंपरा शुरू की गई है, ताकि हरियाली बढ़े।

Q10. Ajit Pawar statement यह मुद्दा राजनीति में क्यों गर्मा रहा है?
क्योंकि इसमें पर्यावरण संरक्षण और विकास के बीच सीधी टक्कर है।


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